Friday 25 October 2013

Travelogues



Travelogues By Ritu Rai

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यात्रा वृतांत

दक्षिण यात्रा के दौरान मेरी मुलाकात एक ऐसे परिवार से हुई जो देश की सेवा में अग्रसर था  पति पत्नी और एक बेटी के साथ सफर कर रहे है महोदय को देखकर लग नही रहा था की वो आर्मी में कार्पोरल के पद पर तैनात थे और हाल ही में 2 वर्षीय सेवा दक्षिण सूडान में भारत और संयुक्त राष्ट्र मिशन के साथ तैनात सयुंक्त सेवा में भाग लेकर आए थे। यात्रा के दौरान उनकी छोटी सी बच्ची इधर-उधर ट्रेन मे कर रही थी। उस बच्ची के माता पिता साधारण से दिख रहे थे। मेरे मन में यही विचार आ रहा था की वो कोई कन्स्ट्रकशन या बिज़नस का व्यवसाय करते होंगे। हम तो शांति से बैठे थे किन्तु उनकी पुत्री हमारे समान को इधर उधर करने में लगी थी फिर उससे मैंने बात की वो बहुत ही तेज़ दिमाग की बच्ची थी अक्सर लड़कियां खिलौने में गुड़िया टेडी बीयर जैसे खिलौने की मांग करती है लेकिन उसे वो सब नहीं चाहिए था जब ट्रेन में एक खिलौने का समान लेकर आदमी आया तो उसने उसमे से मोबाइल, कार जैसे खिलौने लिए जब उससे कहा गया गुड़िया ले लो तो उसने कहा नही मुझे नहीं चाहिए। उसके पापा और मम्मी सभी माता पिता की तरह उसकी फर्माइशों को पूरा करते जा रहे थे। इस तरह से वो ट्रेन में धूम मचा रही थी और जब भी खाने-पीने का कोई भी नया चीज़ दिखता तो उसके पिता बिना सोचे समझे झट से खरीद कर उसको दे देते थे। सब तो सही था ट्रेन में सफर के दौरान ऐसी खाने की चीज़े जरूरी नहीं है की बहुत अच्छी और साफ सुथरी हो लेकिन वो विशाखापट्टनम से चले थे तो उनका खाने का समान सब खत्म हो चुका था इसी दौरान उन्होने मिर्ची के पकोड़े लिए। यात्रा के दौरान वो जिन चीजों को खरीद रहे थे वो हम से भी खाने के लिए पूछ रहे थे। उस दिन हमारा व्रत थे और व्रत का पर्याप्त समान था। जैसे ही मिर्ची का पकोड़ा लिए उनकी बेटी कहने लगी पापा मुझे खाना है। पापा श्री ने बेटी को सीधे मिर्ची खिला दी और उसे लग गयी वो तेज़ी से रंगे बिरंगे चेहरे के भाव को बदलती जा रही थी उसके पास तीखा समान तो बहुत था किन्तु खाना मीठा कुछ भी नहीं। उसके चेहरे में हो रहे परिवर्तन को देख कर बहुत हंसी आ रही थी तभी गुंजन ने उसे तुरंत केला दिया। उसने पहले अपने पापा को देखा पापा ने इशारा किया फिर केला लेकर खा कर उसको कुछ शांति मिलती फिर गुंजन ने एक और दिया तो उसे भी खा लिया और उससे पूछा गया और तब तक उसको शांति मिल गयी थी लेकिन फिर इधर उधर करने लगी तब उसके पापा ने कहा फिर से मिर्ची खिला दूंगा तो वो हसने लगी इस तरह समय रास्ते की ओर बढ़ता जा रहा था हम लोग आईपॉड सुन रहे थे तो बच्ची की माँ ने कहा ये कितने का लिए हमने बताया फिर उसने कहा कितने गाने आ जाएंगे फिर मुझे लगा ये इतने सारे-सवाल पूछे जा रही है देखने से तो जरा सा भी नहीं लग रहा था की वो टेक्नालजी का कुछ समझ भी होगा क्यूंकी बहुत ही साधारण लग रहे थे और कुछ भी कोई भी चीज़ खा लेना जबकि ट्रेन में बिकने वाले समान को बहुत कम ऐसी परिस्थिति में खरीदना चाहिए जब आपके पास अन्य कोई विकल्प न हो। तो माँ के नाते वो उतनी सजग नही थी बच्ची को कुछ भी खिला दे रही थी लेकिन हाँ माता पिता बच्ची की हर ज़िद्द को पूरी कर रहे थे। बच्ची टैब में गेम खेल रही थी तो मैंने सोचा ये गेम वाला टैब होगा लेकिन उसकी मम्मी बातों ही बातों में अपने पति के सूडान यात्रा के अनुभव बताने लगी। वो कहने लगी वहाँ की स्तथी बहुत ही खराब है। जल की बहुत ज्यादा समस्या है और वहाँ आदमी ही आदमी को मार के खा जाता है। मुझे अजीब सा तो लग रहा था तभी बेटी के हाथों से टैब को लेकर हमे वहाँ का विडियो दिखाना शुरू कर दिया मैंने कहाँ मम्मी भी सुपर है पूरे दिन भर उनकी बेटी जिसमें गेम खेल रही थी वो उनके पति का टैब था जिसपे एक भी कॉल नही आया था तो मुझे लगा ये पक्का बच्चों के खेलने वाला गेम का टैब होगा उसपे कार्टून का कवर लगा था। बाद में पता चला ये तो सैमसंग टैब है फिर उन्होने मुझे सूडान की जीवन स्तर और वहाँ के लोगों के बारे में बताया। ये भी बताया की उनके पति के साथ गए 5 मित्रों को वहाँ के विद्रोहियों ने मार डाला था। इसके बाद मुझे और भी जानने की उत्सुकता बढ़ी तो मैंने पूछा की वहाँ में सरकार कैसे है और क्या-क्या समस्या है ? तो उनके पति ने कहा मुख्य समस्या ये है की वहाँ अभी पढे लिखे लोग कम है वहाँ पे दो जनजाति है जिसमे आपस में हमेशा विद्रोह होता रहता है रिजैगत जनजाति और मालिया जनजाति। ये दोनों जनजाति एक दूसरे पर बराबर हमला करते रहते है। रिजैगत जनजाति के लोग मालिया जनजाति के लोगो को मार के खा भी जाते है फिर मालिया जनजाति वाले बदला लेने के लिए रिजैगत जनजाति के साथ वैसा ही करता है और स्वास्थ कुपोषण जैसी अनेक समस्याएँ वहाँ पर विधमान है। बताया की वहाँ पर जान पर खेल कर भारतीय सैनिक इन दोनों जनजातियों के बीच शांति व्यसथा बनाने का काम करते है और सूडान के दूसरे पक्ष पर भी बात की जैसा की सूडान अब दो भागों में बट गया है। उत्तरी सूडान और दक्षिणी सूडान उन्होने बताया की अभी अप्रैल में रेबेल हमले से अपने 5 साथियों को खोया है। वहाँ के लोग बहुत ही मजबूत होते है क्यूंकी जानवर इंसान किसी का भी खून पी जाते हैं। उनके अंदर मानवता का एहसास हमारे देश की तरह नहीं है। अपनी यात्रा के दौरान बहुत सारे अनुभवों को बताया लेकिन अपने साथियों को खोना का गम भी बहुत था। उन्होने कहाँ हमारे देश में इतनी विभिन्नता होने के बावजूद बहुत शांति है लेकिन वहाँ दो ही जाति में इतना बड़ा संघर्ष उसको शांत करने के लिए अन्य देशों का सहयोग भी लिया जाता है। वहाँ की जनता ही वहाँ की आर्मी है इसके पीछे भी बहुत लंबी कहानी है। इस तरह से चलते-चलते उनकी मंज़िल आ चुकी थी लेकिन कम समय में मुझे बहुत अच्छी जानकारी प्राप्त हुई जिसके लिए उनका धन्यवाद ।

ऋतु राय


सूडान देश का संक्षिप्त परिचय 

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सूडान, आधिकारिक तौर पर सूडान गणराज्य, उत्तरी पूर्व अफ्रीका में स्थित एक देश है। यह अफ्रीका और अरब जगत का सबसे बड़ा देश है, इसके अलावा क्षेत्रफल के लिहाज से दुनिया का दसवां सबसे बड़ा देश है। इसके उत्तर में मिस्र, उत्तर पूर्व में लाल सागर, पूर्व में इरिट्रिया और इथियोपिया, दक्षिणपूर्व में युगांडा और केन्या, दक्षिण पश्चिम में कांगो लोकतान्त्रिक गणराज्य और मध्य अफ़्रीकी गणराज्य, पश्चिम में चाड और पश्चिमोत्तर में लीबिया स्थित है। दुनिया की सबसे लंबी नदी नील नदी, देश को पूर्वी और पश्चिमी हिस्सों में विभाजित करती है। इसकी राजधानी खार्तूम है। सूडान दुनिया के उन गिने-चुने देशों में शामिल है, जहां आज भी 3000 ईपू बसी बस्तियां अपना वजूद बचाए हुए हैं। यूनाइटेड किंगडम से 1956 में स्वतंत्रता प्राप्त करने के बाद सूडान को 17 साल तक चले लंबे गृह युद्ध का सामना करना पड़ा, जिसके बाद अरबी और न्यूबियन मूल की बहुतायत वाले उत्तरी सूडान और ईसाई और एनिमिस्ट निलोट्स बहुल वाले दक्षिणी सूडान के बीच जातीय, धार्मिक और आर्थिक युद्ध छिड़ गया, जिसकी वजह से 1983 में दूसरा गृहयुद्ध शुरू हुआ। इन लड़ाइयों के बीच कर्नल उमर अल बाशिर ने 1989 में रक्तविहिन तख्तापटल कर सत्ता हथिया ली। सूडान ने व्यापक आर्थिक सुधारों को लागू कर वृहदतर आर्थिक विकास दर हासिल की और 2005 में एक नया संविधान के माध्यम से दक्षिण के विद्रोही गुटों को सीमित स्वायत्तता प्रदान करने और 2011 में स्वतंत्रता के मुद्दे पर जनमत संग्रह कराने की बात सहमति बनने के बाद गृहयुद्ध समाप्त किया। प्राकृतिक संसाधन के रूप में पेट्रोलियम और कच्चे तेल से भरे-पूरे सूडान की अर्थव्यवस्था वर्तमान में विश्व की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक है। जनवादी गणराज्य चीन और रूस सूडान के सबसे बड़े व्यापार भागीदार हैं। 

दक्षिण सूडान

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दक्षिण सूडान या 'जनूब-उस-सूडान' (दक्षिणी सूडान गणतंत्र) अफ्रीका का नया देश है। यह विश्व का 196वां स्वतंत्र देश, संयुक्त राष्ट्र का 193वां सदस्य तथा अफ्रीका का 55वां देश है। दशकों के खून खराबे के बाद दक्षिण सूडान को आजादी मिली है। चारों तरफ धरती से घिरे इस देश को सागर तक पहुंचने के लिए सूडान की मदद लेनी होगी। सूडान इसके तेल व अन्य सामान को पोर्ट सूडान तक लाने-ले जाने के लिए रास्ता देगा। नए देश की खासियत यह होगी कि यह अपने शहरों का विकास पशुओं व फलों की आकृति के आकार में विकसित करेगा। राजधानी जुबा को गेंडे के आकार में बनाने की योजना है।

 



ऋतु राय


Five Indian soldiers killed as rebels ambush convoy in South Sudan




Five soldiers of the Indian Army were killed and four injured in an ambush on Tuesday morning of their United Nations peacekeeping mission by unidentified assailants in South Sudan. Seven civilians also perished in the ambush that began at 9 a.m. and continued for over an hour.
Lt. Colonel Mahipal Singh, Havaldars Heera Lal and Bharat Sasmal, Naib Subedar Shiv Kumar Pal and Sipahi Nand Kishore Joshi were killed as they escorted a 32-member convoy near the settlement of Gumuruk in Jonglei State. According to agency reports, the convoy was en route to Bor when it was struck by rocket-propelled grenades and small arms fire.
Some members of the convoy are yet to be accounted for. Last month, an Indian soldier was shot at and injured in the same region.
A U.N. spokesperson declined to share details of the nature of the convoy or the number of people missing.
In a telephone conversation, Col. Saurabh Mishra, Commanding Officer of the 6 Mahar regiment in Jonglei, declined to comment as he was focused on evacuating those killed and injured.
The bodies of those killed would be brought back to the country, said official sources in the Ministry of External Affairs.
Defence Minister A.K. Antony lauded the bravery of the slain soldiers and conveyed his grief to their families.
Hilde F. Johnson, Special Representative of the U.N. Secretary-General in South Sudan, condemned the attacked “in the strongest terms,” a U.N. release said.
A contingent of 2,200 Indian Army personnel are deployed with the United Nations Mission in South Sudan (UNMISS). While one group is based in Malakkal on the border with Sudan, the other one is deployed in Jonglei. Elsewhere on the African continent, Indian troops are involved in peacekeeping operations in the Democratic Republic of Congo and Cote d’Ivoire.
“The U.N. peacekeepers were deployed in certain parts of Jonglei, where there is some insecurity,” said Jonglei’s Governor Kuol Manyang Juuk. “Whenever there was any disturbance, the civil population would run to the U.N. camps where they felt secure.”
“The peacekeepers did not engage in any combat, but were friendly and peaceful towards the populace,” he said. A U.N. official confirmed that the peacekeepers conducted regular patrols of the troubled region but were not involved in combat operations.
Jonglei is the largest and most populous State in South Sudan, a country carved out its northern neighbour in 2011 after a brutal civil war spanning many decades. Post-independence, the State has been roiled by inter-ethnic conflict between the Lou Nuer and Murle communities. The conflict has since escalated into a full-blown insurgency led by Murle leader David Yauyau who, the South Sudanese believe, is backed by the government of Sudan. Sudanese officials have repeatedly denied these allegations.
Last week, the U.N. urged South Sudan’s government to protect communities in Jonglei, even as representatives of France, Canada, Norway, the U.S. and the U.K. expressed concern that military conflict, lack of infrastructure, seasonal migration and deterioration of law and order were putting civilian lives at risk. About 17,000 people have been displaced in Jonglei due to the current conflict, according to the U.N.
Apart from providing peacekeepers, India also has significant economic assets in the two countries. Oil and Natural Gas Corporation Videsh Ltd (OVL) has a stake in South Sudan’s oil fields. It has constructed and financed a 741-km pipeline in the north from the Khartoum refinery to Port Sudan on the Red Sea.

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